कहीं गलत वास्तु तो नहीं डाल रहा आपकी जिंदगी में खलल? इन संकेतों से खुद करें पता, घर में वास्तु दोष है या नहीं
वास्तु शास्त्र एक ऐसा प्राचीन भारतीय विज्ञान है जो यह बताता है कि भवन निर्माण, कमरों की दिशा, दरवाज़े-खिड़कियों की स्थिति और आंतरिक सजावट को किस प्रकार से रखा जाए ताकि उस स्थान पर रहने वाले लोगों के जीवन में सुख, समृद्धि और शांति बनी रहे. लेकिन जब ये नियम अनजाने में या जानबूझकर तोड़ दिए जाते हैं, तो वहां वास्तु दोष उत्पन्न हो जाता है. यह दोष न केवल घर की ऊर्जा को प्रभावित करता है, बल्कि वहां रहने वाले लोगों के जीवन को भी उलझनों से भर सकता है. कई बार जीवन में अकारण समस्याएं आने लगती हैं- काम में रुकावट, बीमारियां, तनाव या आर्थिक संकट. इनका कोई सीधा कारण नजर नहीं आता, लेकिन यह हो सकता है कि इन सबकी जड़ वास्तु दोष हो. आइए जानते हैं उन संकेतों को, जो यह इशारा करते हैं कि आपके घर में वास्तु संबंधी गड़बड़ियां हो सकती हैं. इस बारे में बता रहे हैं
1. घर का माहौल लगातार तनावपूर्ण रहना
अगर घर में अक्सर कलह होती है, बात-बात पर झगड़े होते हैं या हर सदस्य चिड़चिड़ा और मानसिक रूप से अस्थिर महसूस करता है, तो यह साफ संकेत है कि वातावरण में नकारात्मक ऊर्जा है. विशेष रूप से अगर घर के उत्तर-पूर्व (ईशान कोण) में कोई भारी सामान या गंदगी है, तो वह मानसिक शांति को नष्ट कर सकता है.
2. नींद न आना या बेचैनी महसूस होना
अगर घर के सदस्य रात को ठीक से सो नहीं पाते, बार-बार डर के साथ नींद खुलती है या बेवजह घबराहट होती है, तो इसका कारण वास्तु दोष हो सकता है. दक्षिण दिशा में शयन कक्ष होना फायदेमंद होता है, लेकिन अगर सिर उत्तर दिशा की ओर करके सोते हैं तो इससे मानसिक बेचैनी बढ़ सकती है.
3. बार-बार बीमार पड़ना
अगर घर में कोई न कोई हमेशा बीमार रहता है, खासकर बिना किसी मेडिकल कारण के, तो यह एक चेतावनी है. वास्तु के अनुसार दक्षिण-पश्चिम दिशा में टॉयलेट या रसोई होने से यह दोष उत्पन्न हो सकता है, जो स्वास्थ्य को प्रभावित करता है.
4. पैसों का रुकना या खर्च बढ़ना
अगर आप मेहनत करते हैं लेकिन पैसा टिकता नहीं, आय कम और खर्च ज्यादा हो रहा है, तो यह संकेत हो सकता है कि घर की दक्षिण दिशा में कोई रुकावट है. खासकर अगर वहां सीढ़ियां या भारी समान रखा हो, तो वित्तीय नुकसान हो सकता है.
5. पौधों का सूख जाना
अगर घर में लगाए गए पौधे जल्दी सूख जाते हैं या पालतू जानवर बार-बार बीमार पड़ते हैं, तो यह दर्शाता है कि घर की ऊर्जा कमज़ोर हो रही है. उत्तर-पूर्व दिशा में सूखे पौधे या जूते-चप्पल रखना भी इस ऊर्जा को प्रभावित करता है.
6. बिजली उपकरणों का बार-बार खराब होना
अगर आपके घर में टीवी, फ्रिज, इनवर्टर, या अन्य इलेक्ट्रॉनिक उपकरण बार-बार खराब होते हैं, तो इसे भी नज़रअंदाज न करें. यह संकेत देता है कि घर में ऊर्जा संतुलन बिगड़ा हुआ है. विशेषकर दक्षिण-पूर्व दिशा (अग्नि कोण) में गड़बड़ी होने पर ऐसा होता है.
7. धार्मिक स्थान पर अशांति या गंदगी
घर में पूजा स्थल का साफ-सुथरा और शांतिपूर्ण होना ज़रूरी है. अगर मंदिर के पास बार-बार चीजें गिरती हैं, दीपक नहीं जलता, या वहां कोई अजीब सी अनुभूति होती है, तो यह भी वास्तु दोष का संकेत हो सकता है.
समाधान क्या हैं?
अगर ऊपर बताए गए संकेत आपके घर में भी मौजूद हैं, तो बेहतर होगा कि आप किसी अनुभवी वास्तु विशेषज्ञ से परामर्श लें. वे आपके घर की दिशा, बनावट और चीज़ों की स्थिति को देखकर सरल और व्यावहारिक उपाय दे सकते हैं. कुछ आम उपाय ये हो सकते हैं.